कांग्रेस पार्टी ने अपना चुनावी घोषणा पत्र आख़िर जरी कर दिया इसमे आश्रय की कोई बात नही यह तो हर चुनाव में होता है , सरे दल यही करते हैं! जब चुनाव आयोग के द्वारा तथाकथित आचार संहिता लहू की जाती है तो राजनितिक दलों को कुछ कामो पर लगाम लगनी पड़ती है जैसे की नई विकास योजना , सम्प्रदैक भडकाव आदि के लिए रोक लगा दी जाती है ! मगर कांग्रेस के घोषणा पत्र में यह सब है, सिर्फ़ कांग्रेस क्या हर दल यही करेगा जैसे मनमोहन जी ३श्र किलो चावल देंगे तो अडवानी जी १००००/रुपये में लेपटोप देंगे तो वाम दल कुछ और देंगे। क्या चुनाव आयोग को इसमे कुछ दिखाई नही दे रहा या वो सिर्फ़ कागजी आचार संहिता में लगा हुआ है।वहीँ वरुण गाँधी ने जो कुछ कहा उस पर हर तरफ़ हल्ला मचा हुआ है! मगर कुछ पार्टी जैसे सपा, बसपा या कुछ अन्य दल सांप्रदायिक आधार पर ही जीवित है उन पर कुछ लगाम लगना तो दूर आज यह दल राष्ट्रीय दलों को भी अपनी ताकत दिखने में लगे है। जहाँ मुलायम और लालू ने कांग्रेस को गहरा सदमा पहुँचा दिया है वहीँ भाजपा को चुनाव आयोग ने अपने शिकंजे में लपेट लिया है वोह भी वरुण गाँधी के कारन , हालाँकि भाजपा में तो नेता इसी तरह के भाषणओ के कारन सत्ता में आते रहे हैं।कुछ भी हो लेकिन सारे दल एक दुसरे को नीचा दिखने में कोई कसर नही छोडेंगे ,लेकिन सरे दल और नेता अन्दर से एक समान हैं , चुनाव के इस हमाम में सारे नेता नंगे हैं वोह किस पैर ऊँगली उठाएंगे, सारी शर्म उतर कर फिर से वोट मांगने आएंगेOर चुनाव आयोग हर बार की तरह अपनी खानापूर्ति में लगा रहेगा .
Deepak singh...
09425944583
4 comments:
बहुत सुन्दर आपका हिंदी ब्लॉग जगत में स्वागत है ........
बहुत सुंदर…..आपके इस सुंदर से चिटठे के साथ आपका ब्लाग जगत में स्वागत है…..आशा है , आप अपनी प्रतिभा से हिन्दी चिटठा जगत को समृद्ध करने और हिन्दी पाठको को ज्ञान बांटने के साथ साथ खुद भी सफलता प्राप्त करेंगे …..हमारी शुभकामनाएं आपके साथ हैं।
sahi bat hai, narayan narayan
दीपक जी, भारतीय राजनीति पर बात करने से भी अब तो मन व्यथित होने लगा है....लकडी की तलवारें थामे हुए जनता के सामने लडने का ढोंग किया जा रहा है बस..अन्दर से सब एक हैं
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